Monday, 17 March 2014

कान्हा खेलें होरी


आ रे कारे बादर 
रँग बरसाने आ रे 
कान्हा  खेलें होरी 
तू बरसाने आ रे

रँग अलग अलग भर ला 
लाल, बैंगनी, पीला
कोई बच ना जाए 
सबको कर दे गीला 
खुशियों की बारिश में 
तू भिंगाने आ रे

इन्द्रधनुष से रँग ला 
त्याग उदासी काली 
उल्लसित जीवन, डाल 
मुख पे उमंग लाली ..
जो उदास है जग में 
उन्हें हँसाने आ रे.

हाथों में पिचकारी
गाल पे रंग गुलाल 
सब मिल खेलें होरी 
अंचल धरा का लाल
जीवन में खुशियाँ भर 
हर्ष जगाने आ रे.

श्याम भींगे सर्वांग 
गोपियाँ राधा संग 
अंग उल्लास निखरे 
रँग, रँग, हर एक अंग .
रँग ना छूटे पाए 
ऐसो रंग लगा रे.

...  #नीरज कुमार नीर 
#neeraj_kumar_neer 
(बरसाने का दो अर्थ में प्रयोग समझें)
चित्र गूगल से साभार 
#holi #होली  #rang #रंग #pichkari #shyam #gopi 

7 comments:

  1. बहुत ही सुन्दर प्रस्तुति ,आपको भी सपरिवार होली की हार्दिक शुभकामनाएं ।

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  2. बहुत सुन्दर गीत
    होली की हार्दिक शुभकामनाऐं ।
    new post: ... कि आज होली है !

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  3. एक और होली का मधुर गीत ... बधाई ...
    आपको और परिवार में सभी को होली कि हार्दिक बधाई ...

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  4. बहुत सुंदर रचना.... होली की शुभकामनाएं ....

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  5. सुंदर रचना है !
    मंगलकामनाएं आपको !

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  6. सुन्दर होली रचना।।
    आप सभी को होली की हार्दिक शुभकामनाएँ।।

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  7. होली रंग बिरंगे भर दे।

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