Sunday, 1 November 2015

चमड़े की नाव

पकड़कर उसकी पूंछ
करते थे
जिनके पुरखे
पार
कर्म फल की वैतरणी
उसी के चमड़े की
बना के नाव
पार करना चाहते हैं उनके बच्चे
चुनाव की वैतरणी
ताकि पहुँच सकें
सत्ता, शक्ति और सुख के
पंचवर्षीय लोक में ।
... नीरज कुमार नीर

2 comments:

  1. जी बिलकुल सत्य है आप की रचना में।

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  2. आज के सच को बखूबी लिखा है आपने नीर साब !!

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